स्वर की परिभाषा
हिंदी भाषा में जिन वर्णों का उच्चारण बिना किसी अवरोध के तथा बिना किसी दूसरे वर्ण की सहायता से होता है उन्हें स्वर्ग कहते हैं. स्वरों की कुल संख्या 11 है।
अ, आ, इ, ई, उ, ऊ, ऋ, ए, ऐ, ओ, औ।
स्वर के भेद
स्वर दो प्रकार के होते हैं:
- ह्रस्व स्वर
- दीर्घ स्वर
ह्रस्व स्वर की परिभाषा
जिन स्वरों के उच्चारण में कम समय लगता है उन्हें ह्रस्व स्वर कहते हैं। इनकी संख्या 4 होती है।
ह्रस्व स्वर के उधारण इस प्रकार है:
- अ,
- इ,
- उ,
- ऋ
दीर्घ स्वर की परिभाषा
जिन स्वरों के उच्चारण में ह्रस्व स्वरों से थोड़ा अधिक समय लगता है उनको दीर्घ स्वर कहते है। इनकी संख्या 7 होती है।
दीर्घ स्वर के उधारण:
- आ,
- ई,
- ऊ,
- ए,
- ऐ,
- ओ,
- औ।
स्वरों का वर्गीकरण में उच्चारण
वर्ण का नाम | उच्चारण स्थान | ह्रस्व स्वर | दीर्घ स्वर |
---|---|---|---|
कंठय | कंठ | अ | आ |
तालव्य | तालु | इ | ई |
मूर्धन्य | मूर्धा | ऋ | ए, ऐ, ओ, औ |
ओष्ठय | ओष्ठ | उ | ऊ |
स्वर्ग संबंधित महत्वपूर्ण जानकारी
आगत स्वर कौन सा है?
आँ
अग्र स्वर कौन से हैं?
इ, ई, ए, ऐ
मध्य स्वर है?
अ
स्वर की संख्या कितनी है?
11
स्वर कितने प्रकार के होते हैं?
दो
मूल स्वर कौन से हैं?
अ, इ, उ, ऋ
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Vyakaran